नई दिल्ली: भारत में अमेरिकी दूतावास ने वीजा आवेदन प्रक्रिया में बढ़ती धोखाधड़ी को रोकने के लिए बड़ा कदम उठाया है। दूतावास ने हाल ही में लगभग 2,000 वीजा अपॉइंटमेंट रद्द कर दिए, जो उनकी आधिकारिक नीतियों का उल्लंघन करके बुक किए गए थे। यह कार्रवाई 27 मार्च 2025 को ‘X’ पर जारी एक नोटिस के साथ शुरू हुई, जिसमें दूतावास ने कहा, “हमारी काउंसुलर टीम ने नीतियों का दुरुपयोग करने वालों की पहचान की है। इन अपॉइंटमेंट्स को तत्काल प्रभाव से रद्द कर दिया गया और संबंधित अकाउंट्स के शेड्यूलिंग अधिकार निलंबित कर दिए गए हैं।”
यह कदम फरवरी 2025 में दिल्ली पुलिस में दर्ज एक शिकायत के बाद उठाया गया, जिसमें पंजाब, हरियाणा और अन्य राज्यों के 30 से अधिक लोगों पर फर्जी दस्तावेजों के जरिए वीजा हासिल करने का आरोप है। जांच में खुलासा हुआ कि इनमें वीजा एजेंट और आवेदक शामिल थे, जिन्होंने बैंक स्टेटमेंट, शैक्षणिक प्रमाणपत्र और नौकरी के रिकॉर्ड जाली बनाए। दिल्ली पुलिस के मुताबिक, एजेंट्स ने प्रति आवेदक 1 लाख से 15 लाख रुपये तक वसूले। एक मामले में, आवेदक चमकौर सिंह ने कबूल किया कि उसके एजेंट ने फर्जी नौकरी का विवरण और जाली बैंक दस्तावेज जमा किए थे, जिसके लिए वीजा मिलने पर 13 लाख रुपये देने थे।
अमेरिकी दूतावास ने आईपी ट्रैकिंग के जरिए इस नेटवर्क का पता लगाया और इसे भारत व अमेरिका के लिए “गंभीर सुरक्षा मुद्दा” बताया। दिल्ली पुलिस ने भारतीय न्याय संहिता और आईटी अधिनियम के तहत मामला दर्ज किया है और छापेमारी जारी है। विशेषज्ञों का कहना है कि यह धोखाधड़ी लोगों की हताशा का नतीजा है, जो भविष्य में उनके अवसरों को नष्ट कर सकती है। इस बीच, H-1B वीजा में भी धोखाधड़ी रोकने के लिए अमेरिका ने नए नियम लागू किए हैं।