गिरिश गुप्ता
गरियाबंद:- जिले के आदिवासी क्षेत्रों में रोजगार को लेकर पलायन कोई नयी बात नहीं है,दक्षिण राज्यों में बंधक बनाया जाना भी अक्सर देखा गया है पर ले देकर जान बचाकर गांव पहुंचे लोगों का हुक्का पानी बंद करना ये अजीबो गरीब मामला है।ऐसा ही एक मामला मैनपुर ब्लाक के केंदुपाटी में देखने को मिल रहा है ,जहां आंध्रप्रदेश के बोराकुंडा गांव के ईंट भट्ठे में काम करने गये 13 मजदूरों के लिये गांव में हुक्का पानी बंद कर दिया गया है।दलाल के जरिए आंध्रप्रदेश पहुंचे मजदूरों के साथ वहां मारपीट गाली गलोच कर दबाव पूर्वक
माह भर काम कराया गया।दहशत भरे मजदूर जैसे तैसे गांव पहुंचे तो ठेकेदार और दलाल मिलकर गांव मे 13 लोगों का हुक्का पानी बंद करा दिया। पैसा वापस करो या काम पर जाओ इन शर्तों के साथ जान बचाकर आये मजदूरों पर अब दबाव बनाया जा रहा है।ठेकेदार और लेवर के बीच दलालों का दखल,दलाल कमाते हैं मोटा मुनाफा 60 हजार प्रति व्यक्ति देने डील हुआ था वो तो मिला नहीं अभी 80 हजार प्रति व्यक्ति वसूली करने ठेकेदार और दलाल दबाव बनाकर गांव से बहिष्कृत करवा दिया है।