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कोलकाता डाक्टर मर्डर-रेप प्रकरण, अस्पतालों से मोमबत्ती लेकर निकले डाक्टर
Shimla. शिमला। कोलकात्ता में प्रशिक्षु डाक्टर की निर्मम हत्या और दुष्कर्म के खिलाफ देश भर के चिकित्सकों में जबरदस्त आक्रोश है। इसका बड़ा असर हिमाचल में भी देखने को मिला है। सोमवार को प्रदेश के तमाम अस्पतालों में चिकित्सक मोमबत्ती लेकर विरोध में उतरे और उन्होंने महिला चिकित्सक के मामले की निष्पक्ष और कड़ी जांच का आह्वान किया। इस दौरान चिकित्सक एसोसिएशन के आह्वान पर केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री जेपी नड्डा और मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू को भी पत्र भेजे गए। हिमाचल में प्रदेश चिकित्सा अधिकारी महासंघ ने कोलकात्ता में प्रशिक्षु डाक्टर की निर्मम हत्या और दुष्कर्म की कड़ी निंदा की है। हिमाचल चिकित्सा अधिकारी संघ ने ऑल इंडिया फेडरेशन ऑफ गवर्नमेंट डाक्टर्स एसोसिएशन और पश्चिम बंगाल मेडिकल ऑफिसर्स एसोसिएशन को भी सपोर्ट लेटर लिखकर चिकित्सकों की सुरक्षा के लिए ठोस नियम बनाने बढक़र कदम
उठाए जाने की मांग रखी है।
संघ ने पहले भी हिमाचल प्रदेश में मेडिपर्सन एक्ट के तहत प्रदेश चिकित्सीय सेवा-व्यक्ति और चिकित्सीय सेवा-संस्था (हिंसा और संपत्ति के नुकसान का निवारण) संशोधन अधिनियम, 2017 के तहत अभी तक अधिसूचना जारी नहीं की गई है। प्रदेश में भी 24 घंटे सात दिन स्वास्थ्य संस्थानों में सुरक्षा की कोई भी व्यवस्था नहीं है। संघ ने मुख्यमंत्री सुक्खू से आह्वान किया है कि इन संस्थानों में कड़ी सुरक्षा उपलब्ध करवाई जाए। चिकित्सा अधिकारी महासंघ के महासचिव डा. विकास ठाकुर ने बताया कि प्रदेश भर के चिकित्सक पीडि़ता के परिवार के साथ खड़े हैं। अखिल भारतीय सरकारी सेवा चिकित्सक एसोसिएशन ने केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री जेपी नड्डा को पत्र लिखा है। इस पत्र के माध्यम से मामले की स्वतंत्र जांच की मांग की गई है। इसके अलावा पूरे मामले की न्यायिक जांच का भी आह्वान किया गया है। इसके साथ ही सरकारी सेवा में कार्यरत महिला चिकित्सकों की सुरक्षा को सुनिश्चित करने का भी आह्वान किया है। सभी अस्पतालों में सीसीटीवी लगाने के साथ ही सुरक्षा के तय मानकों को पूरा करने, चिकित्सकों के खिलाफ जीरो टॉलरेंस पालिसी पर काम करने, चिकित्सकों के साथ दुव्र्यवहार करने वालों को सख्त से सख्त सजा देने और चिकित्सकों कार्यस्थल में आवश्यक सुधार करने की बात इस पत्र के माध्यम से कही है। एसोसिएशन के राष्ट्रीय महासचिव डा. माधव हसनी ने बताया कि युवा डा. की मौत का मामला निजी नुकसान नहीं है। बल्कि यह नुकसान समूचे देश का है।