Gujrat: कच्छ में विजयादशमी के अवसर पर आयोजित शस्त्र पूजा में रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने भाग लिया और पाकिस्तान को कड़ी चेतावनी दी। उन्होंने कहा कि यदि पाकिस्तान की ओर से सर क्रीक इलाके में कोई भी हिमाकत होती है, तो भारत उसका इतिहास और भूगोल बदल सकता है। उन्होंने पाकिस्तान को याद दिलाया कि कराची तक जाने वाला रास्ता इसी क्रीक से होकर गुजरता है और 1965 के युद्ध में भारतीय सेना ने लाहौर तक पहुंचने की क्षमता का प्रदर्शन किया था।
राजनाथ सिंह ने बताया कि पिछले वर्षों में वे दशहरा पर लगातार शस्त्र पूजा करते रहे हैं और पूर्व में केंद्रीय गृह मंत्री के रूप में भी इस परंपरा का हिस्सा रहे हैं। उन्होंने सर क्रीक से जुड़े सीमा विवाद का जिक्र करते हुए कहा कि भारत ने बार-बार बातचीत के जरिए इसे सुलझाने की कोशिश की, लेकिन पाकिस्तान की नीयत अस्पष्ट रही। इलाके में पाकिस्तान के सैन्य बुनियादी ढांचे का हालिया विस्तार उसकी वास्तविक मंशा को दर्शाता है।
रक्षा मंत्री ने ऑपरेशन सिंदूर का उल्लेख करते हुए कहा कि भारतीय सेना ने सभी सैन्य उद्देश्यों को सफलतापूर्वक हासिल किया, लेकिन इसका उद्देश्य युद्ध बढ़ाना नहीं था। उन्होंने स्पष्ट किया कि पाकिस्तान ने भारतीय एयर डिफेंस सिस्टम को भेदने की कई कोशिशें कीं, लेकिन नाकाम रहा। भारत ने अपनी सैन्य क्षमता दुनिया के सामने साबित कर दी है और आवश्यकतानुसार पाकिस्तान को नुकसान पहुंचाने की क्षमता रखता है। सिंह ने आतंकवाद के खिलाफ भारत की लड़ाई जारी रहने पर जोर दिया और कहा कि भारतीय सेना ने संयम बरतते हुए कार्रवाई की। उन्होंने यह भी कहा कि ऑपरेशन सिंदूर का उद्देश्य आतंकवाद के खिलाफ कार्रवाई था, न कि युद्ध छेड़ना।

